जाड़े का मौसम अथवा बदलते मौसम में अक्सर हमें खाँसी की शिकायत हो जाती है। सर्दी-जुकाम,ठंडा वातावरण भी खांसी के प्रमुख कारणों में से एक है।
खासकर बच्चे और बूढ़े लोग ज्यादा इस रोग के शिकार होतें हैं।
नुश्खे-1-एक चम्मच तुलसी का रस,एक चम्मच अदरख का रस और एक चम्मच शहद मिलाकर दिन में तीन बार सेवन करने से कफ और खांसी से राहत मिलती है।
2-अंजीर खाने से छाती में जमा बलगम निकल जाता है और खांसी से छुटकारा मिलता है।
3-बड़ी इलायची का चूर्ण 2-2 ग्राम दिन में तीन बार पानी के साथ लेने से सभी प्रकार की खांसी में लाभ मिलता है।
4-अदरख का रस शहद के साथ सोते समय चांटे और पानी न पियें। इससे खांसी में बहुत लाभ होता है।
5-काली मिर्च और मिश्री या मुलहठी को मुँह में रखकर चूसें,इससे सूखी खांसी में आराम मिलता है।
6-काली खांसी होने पर कपूर की धूनी सूंघने से लाभ मिलता है।
7-एक चम्मच सोंठ का भुना हुआ चूर्ण,थोडा सा गुड़ और एक चुटकी अजवाइन इन तीनों को एक साथ मिलाकर खायें और ऊपर से गर्म दूध पीकर कंबल ओढ़ कर सो जायें,खांसी से जल्द ही छुटकारा मिल जायेगा।
8-तवे पर फिटकरी भून लें और उसका चूर्ण बनाकर मिश्री या शहद के साथ सेवन करें। इससे सूखी खांसी में राहत मिलेगी।
9-खांसी को कम करने के लिए मिश्री के साथ अदरख का एक छोटा सा टुकड़ा मुँह में रखकर चबाइए। खांसी में शीघ्र आराम मिलेगा।
10-एक तोला मुलहठी,चौथाई तोला काली मिर्च,आधा तोला सोंठ,आधा तोला अदरख-इन सबको बारीक़ पीसकर छान लें और दो तोले गुड़ में मिलाकर बेर के बराबर गोलियां बना लें। 1-1 गोली सुबह-शाम गर्म पानी के साथ सेवन करें, इससे काली खांसी ठीक हो जायेगी।
11-अकरकरा और गुड़ की गोलियां बना कर चूसने से खांसी तुरंत ठीक हो जाती है।
12-खांसी आने पर अरबी की सब्जी बना कर खायें। खांसी तुरंत खत्म हो जायेगी।
13-चाय के पानी में चुटकीभर नमक मिलाकर रात को सोते समय गरारे करने से लाभ मिलता है।
14-खांसी को समाप्त करने के लिए काले बांस को जलाकर उसकी राख बना लें। इसे शहद के साथ मिलाकर चांटे। खाँसी खत्म हो जायेगी।
15-खांसी में थोड़े से नमक में बराबर मात्रा में हल्दी मिलाकर फांक लें और ऊपर से एक कप गुनगुना दूध पी लें।खांसी में लाभ मिलेगा।
16-बादाम की 5 गिरी,5 काली मिर्च और 5 मुनक्का लेकर मिश्री के साथ पीसकर गोली बना लें। चार-चार घण्टे पर एक गोली चूसें। इस प्रयोग से खांसी समाप्त हो जायेगी।
http://Techgyanu.blogspot.in
दोस्तों आज हम इंटरनेट रेडियो के बारे में जानेगें। इंटरनेट रेडियो (जिसे वेब रेडियो, नेट रेडियो, स्ट्रीमिंग रेडियो और ई-रेडियो के नाम से भी जाना जाता है) इंटरनेट के द्वारा प्रसारित एक ध्वनि सेवा है। इंटरनेट पर संगीत की स्ट्रीमिंग को सामान्यतः वेबकास्टिंग कहा जाता है क्योंकि इसे मोटे तौर पर बेतार की मदद से प्रसारित नहीं किया जाता है। इंटरनेट रेडियो में मीडिया की स्ट्रीमिंग होती है, सुनने वालों को अनवरत ध्वनि का प्रवाह मिलता है जिसे रोका या पुनः बजाया नहीं जा सकता है; ये इस तरह से मांग पर फाइल की प्रस्तुतीकरण की सेवा से भिन्न होता है। इंटरनेट रेडियो पॉडकास्टिंग से भी भिन्न है, जिसमे स्ट्रीमिंग के बजाय डाउनलोडिंग होती है। कई इंटरनेट रेडियो सेवाएं समरूपी पारंपरिक (स्थलीय) रेडियो स्टेशन रेडियो तंत्र से जुडी होती हैं। सिर्फ इंटरनेट रेडियो स्टेशन इस तरह के जुड़ावों से स्वतंत्र हैं। सामान्यतः इंटरनेट रेडियो सेवाएं दुनिया में किसी भी स्थान से सुगम हैं उदाहरण के लिए, एक व्यक्ति ऑस्ट्रेलिया के स्टेशन को अमेरिका या यूरोप से सुन सकता हैं। कुछ प्रमुख नेटवर्क जैसे अमेरिका के क्लिअर चैनलऔरसीबीएस रेडि...
टिप्पणियाँ
एक टिप्पणी भेजें